बिलासपुर रेल मंडल सर्वाधिक आय देने वाला मंडल है। बावजूद क्षेत्र के यात्रियों के साथ रेलवे द्वारा उपेक्षा किया किया जा रहा है: मंत्री जयसिंह अग्रवाल
कोरबा – कोरोना काल के बाद बिलासपुर रेल मंडल से गुजरने वाली गाड़ियों की लेट लतीफी से क्षेत्र के यात्री परेशान हो गए हैं। इसकी शिकायत कोरबा क्षेत्र के लोगों ने राजस्व मंत्री जयसिंह अग्रवाल से की है और कहा कि रेल गाड़ियों के नियमित संचालन के लिए पहल और प्रयास करें। इस बाबत् राजस्व मंत्री जयसिंह अग्रवाल ने डीआरएम बिलासपुर को पत्र लिखकर यात्रियों को होने वाली परेशानी से राहत दिलाते हुए समस्त गाड़ियों को नियमित समय में संचालित करने का आग्रह किया हैै। डीआरएम को लिखे पत्र में जयसिंह अग्रवाल ने कहा कि बिलासपुर मंडल से चलने वाली एवं गुजरने वाली यात्री गाड़ियों की चाल बिगड़ने के कारण अंचल के यात्रियों को अत्यधिक असुविधा का सामना करना पड़ रहा है। विशेष रूप से उन यात्रियों को जिन्हे अगले स्टेशन ट्रेन पकड़कर आगे की यात्रा करनी होती है। कोरबा से बिलासपुर की दूरी मात्र 90 कि.मी. है, जिसे पहुंचने में 3-4 घण्टे का समय लग रहा है, ऊपर से कई महत्वपूर्ण गाड़ियों को बिलासपुर न लाकर उसलापुर ठहराव कर दिया गया है, जिससे यात्रियों के लिए परेशानी और बढ़ गई है। लंबी दूरी की गाड़ियां नागपुर स्टेशन तक समय या समय से पूर्व पहुंच जाती है, लेकिन जैसे ही इतवारी स्टेशन को पार करती है उनके लेट होने की शिकायत प्रारंभ हो जाती है। यशवंतपुर एवं कोचीवली एक्सप्रेस जैसी गाड़ियां 4 से 6 घण्टे विलंब से पहुंच रही है। शिवनाथ एक्सप्रेस ने तो जैसे समय पर न चलने की कसम खा रखी है। इस गाड़ी ने सारे रिकार्ड तोड़ते हुए पिछले 09 साल से 08 घण्टे विलंब से चल रही है।
इसके अलावा बाकी जोन अथवा मंडल से मंडल या जोन की तरह कोई स्पेशल ट्रेन भी नहीं चलाई जा रही है, जिससे अंचल के यात्रियों को और ज्यादा असुविधा हो रही है। श्री अग्रवाल ने अपने पत्र में आगे लिखा है कि पिछले 10 साल से न तो किसी यात्री गाड़ी का फीस बढ़ाया गया और ना ही कोई नयी यात्री गाड़ी चलायी गई, जिससे उपलब्ध यात्री गाड़ियों में महीनों आरक्षण उपलब्ध नही हो पा रहा है। अभी वैवाहिक एवं छुट्टियों के सीजन में गाड़ियों में पांव रखने की जगह तक नहीं मिल रही है। बिलासपुर रेल मंडल सर्वाधिक आय देने वाला मंडल है। इस क्षेत्र के यात्रियों के साथ रेलवे द्वारा जो उपेक्षा की जा रही है, वह किसी भी स्थिति में जनहितों पर कुठाराघात है।
पत्र के अंत में जयसिंह अग्रवाल ने डीआरएम से आग्रह करते हुए लिखा है कि यात्रियों की सुविधा को ध्यान में रखते हुए गाड़ियों की विलंब चाल को समाप्त करते हुए स्पेशल ट्रेनों को भी चलाएं।