कोरबा। सन् 2021 में एक चौकाने वाला मामला सामने आया था। कुछ लोगों ने गरीबों के निवाले पर डाका डाला था। मामला प्रकाश में आने के बाद पीडीएस संचालकों पर खाद्य विभाग की गाज गिर गई थी। खाद्य विभाग ने 20 लाख से भी अधिक की रिकव्हरी का फरमान जारी किया था। तब से इस मामले के आरोपी इधर से उधर भाग रहे हैं। इस बीच विभाग के कई अधिकारी व कर्मचारियों का स्थानांतरण अन्यत्र कर दिया गया। ऐसे में मामला ठंडे बस्ते में चला गया। गबन करने वालों से पूरी राशि की रिकव्हरी नहीं हो सकी है। अब एक बार फिर मामला सुर्खियों में आ गया है।
जानकारी के अनुसार पीडीएस में 20 लाख से भी अधिक का गबन करने वालों ने एक नया कारनामा कर दिया है। जिले में एक घर का ताला तोड़कर बलात् घुसे हुए हैं। इसकी जानकारी खुद मकान मालिक ने दी है। लक्ष्मणबन निवासी मकान मालिक अनिता रानी मेहन पति सुनील कुमार मेहन के अनुसार उनके घर के पिछले हिस्से में एक कमरा बना हुआ था। जिसमें कब्जा कर लिया गया है। मकान मालिक सुनील कुमार ने बताया कि अपने ही मकान का कब्जा खाली कराने के लिए तहसील कार्यालय का चक्कर लगाना पड़ रहा है। तहसीलदार ने कब्जा खाली कराने का संबंधी नोटिश भी जारी कर दिया है। इसके बावजूद मकान खाली नहीं हो सका है। तहसील कोरबा में आवेदन दिया गया है। दस्तावेजों के अनुसार अनूप कुमार खत्री, शशि रानी खत्री और आकाश खत्री ने मकान में कब्जा जमा लिया है।
चोरी में भी लिप्त हैं परिवार के सदस्य
मकान मालिक सुनील कुमार ने बताया कि मकान में कब्जा करने वालों का परिवार चोरी में भी लिप्त रहा है। उन्होंने बताया कि अखबारों से चोरी में संलिप्त होने की जानकारी मिली थी। घटना दिसंबर 2020 में हुई थी। कोतवाली थाना क्षेत्र में रानी रोड निवासी मोहबिलाल पिता स्व. जमीरउल हसन ने सीएसईबी पुलिस चौकी में रिपोर्ट दर्ज कराई थी। 21 दिसंबर 2020 की रात अंसारी मेंस वियर कपड़ा दुकान का ताला तोड़कर कपड़ा व नगदी की चोरी हुई थी। पुलिस ने मामले में लक्ष्मणबन निवासी सुभम खत्री उर्फ गोगी पिता स्व अनिल खत्री को हिरासत में लेकर पूछताछ की। पूछताछ के दौरान अंसारी मेन्स वियर में संजय नगर निवासी अपने साथी प्रदीप साहू, बब्बू साहू 23 के साथ मिलकर चोरी करना स्वीकार किया था। इन लोगों ने बुधवारी बस्ती निवासी प्रार्थी मोहन लाल आदित्य व राजकुमारी राजपूत के घर तथा निहारिका आरपी नगर निवासी बाबूराव नायडू के घर से सोने चांदी के जेवर की चोरी करना भी स्वीकार किया था।