अदरक और शहद स्वास्थ्य के लिए बेहद लाभकारी है। बारिश के मौसम में बीमारियों से बचना है तो भुनी हुई अदरक और शहद का सेवन करें। पुरानी खांसी, सर्दी और जुकाम में अदरक और शहद रामबाण इलाज का काम करते हैं। अदरक और शहद में कई शक्तिशाली एंटीऑक्सीडेंट्स, एंटी-इन्फ्लेटरी, एंटी-बैक्टीरियल और एंटीफंगल गुण पाए जाते हैं। अदरक और शहद में एंटीवायरल गुण भी होते हैं जो बुखार और दूसरे इंफेक्शन से बचाने में मदद करते हैं। जानिए भुनी अदरक और शहद खाने के फायदे क्या हैं और इसका सेवन कैसे करें?
अदरक भूनने का तरीका
अदरक को आप गैस पर आसानी से भून सकते हैं। अदरक को बैंगन या दूसरी चीजों की तरह पहले भून लें। फिर इसका छिलका हटा दें। अब अदरक को कद्दूकस कर लें। इसे पीसकर आसानी से रस भी निकाल सकते हैं। इसे शहद के साथ खाएं। भुनी हुई अदरक और भी ज्यादा फायदेमंद साबित होती है।
भुनी हुई अदरक और शहद खाने के फायदे
-खांसी और कफ को करे दूर : अदरक और शहद खाने से कले की खराश और खांसी को दूर किया जा सकता है। इससे गले में आने वाली सूजन भी कम हो जाती है। अगर आप भुनी अदरक का सेवन शहद के साथ करते हैं तो गले में जमा बलगम तुरंत बाहर निकल जाता है। इससे सर्दी-खांसी से छुटकारा मिलता है।
-जोड़ों और हड्डियों के दर्द में आराम : भुनी हुई अदरक जोड़ों और हड्डियों के दर्द में आराम पहुंचाती है। भुनी हुई अदरक में एंटीइंफ्लेमेटरी गुण पाए जाते हैं, इससे सूजन को कम करने में मदद मिलती है। इससे ऑस्टियोपोरोसिस का खतरा कम होता है।
-डायबिटीज में फायदेमंद : डायबिटीज के मरीज के लिए भी भुनी हुई अदरक फायदेमंद होती है। इससे ब्लड शुगर को कंट्रोल करने में मदद मिलती है। डायबिटीज के मरीज को डाइट में अदरक जरूर शामिल करनी चाहिए।
-सामान्य सिरदर्द में आराम : भुनी हुई अदरक खाने से माइग्रेन या सामान्य सिरदर्द में भी आराम मिलता है। इससे दर्द को कम किया जा सकता है। आप चाहें तो भुनी हुई अदरक की जगह अदरक का पानी भी पी सकते हैं। इसमें शहद मिलाकर खा सकते हैं।
-इम्यूनिटी बढ़ाए- भुनी अदरक और शहद बारिश के मौसम में आपकी इम्यूनिटी मजबूत करती है। इससे आप कई बीमारियों और इंफेक्शन से बच जाते हैं। अदरक शहद खाने से रोग प्रतिरोधक क्षमता मजबूत होती है। बच्चों को भी 1 चम्मच शहद में कुछ बूंद अदरक के रस की मिलाकर पिलाएं।
डिस्क्लेमर : यह लेख केवल सामान्य जानकारी के लिए है। Today Studioलेख की पुष्टि नहीं करता है। ज्यादा जानकारी के लिए हमेशा अपने डॉक्टर की सलाह लें।