बिलासपुर। सिविल लाइन थाना क्षेत्र स्थित सेंट विंसेंट पलोटी स्कूल के टॉयलेट में हुए धमाके के मामले में पुलिस ने जांच के बाद आठवीं कक्षा के दो छात्र और दो छात्राओं को हिरासत में लिया है।
शुक्रवार 21 फरवरी को सुबह करीब 10:15 बजे स्कूल के टॉयलेट में अचानक बलास्ट हुआ। इस दौरान चौथी कक्षा की छात्रा स्तुति मिश्रा टॉयलेट में मौजूद थी। विस्फोट की चपेट में आने से वह गंभीर रूप से घायल हो गई। उसे तुरंत बर्न केयर हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया। डॉक्टरों के मुताबिक छात्रा के नाजुक अंगों को भी चोट आई है और उसकी हालत गंभीर बनी हुई है।
इस सनसनीखेज घटना से स्कूल में हड़कम्प मच गया। घटना के बाद स्कूल के प्राचार्य ने सिविल लाइन थाने में शिकायत दर्ज कराई। पुलिस ने मामले में भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 124 ए (ज्वलनशील पदार्थ का उपयोग कर किसी को आहत करना) के तहत केस दर्ज किया। जांच में पता चला कि आठवीं कक्षा के दो छात्र और दो छात्राओं ने पटना से ऑनलाइन सोडियम मंगवाया था। इस सोडियम को बाथरूम में रखा गया था। जैसे ही छात्रा ने फ्लश चलाया तो पानी के संपर्क में आते ही सोडियम में विस्फोट हो गया।
पुलिस ने चारों छात्र-छात्राओं से पूछताछ की। उन्होंने बताया कि वे सिर्फ शरारत के मकसद से ऐसा कर रहे थे। हालांकि, सूत्रों के मुताबिक, चारों ने स्कूल की एक शिक्षिका को निशाना बनाने के लिए यह कदम उठाया था। पुलिस ने जेजे एक्ट (किशोर न्याय अधिनियम) के तहत चारों को हिरासत में ले लिया है। अब उन्हें बाल न्यायालय में पेश किया जाएगा।
परिजनों ने स्कूल में किया था हंगामा – घटना के दूसरे दिन शनिवार को छात्रा के परिजनों ने स्कूल में हंगामा किया। उन्होंने मांग की कि दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाए और उन्हें स्कूल से निष्कासित किया जाए। परिजनों का आरोप है कि पहले भी स्कूल में ऐसी घटनाएं हुई हैं, लेकिन प्रबंधन ने कोई सख्त कदम नहीं उठाया। उन्होंने कहा कि यह घटना स्कूल प्रबंधन की लापरवाही का नतीजा है।
घटना के बाद कलेक्टर अवनीश शरण ने शिक्षा विभाग की टीम को स्कूल भेजकर जांच के निर्देश दिए। साथ ही, शहर के चार अन्य स्कूलों के प्राचार्यों की एक जांच समिति भी बनाई गई है। कलेक्टर ने जल्द से जल्द रिपोर्ट पेश करने के आदेश दिए हैं। सिविल लाइन पुलिस की टीम ने घटनास्थल का मुआयना किया। फोरेंसिक टीम को बाथरूम में सिल्वर पैकिंग का एक चिथड़ा मिला, जिससे पता चला कि विस्फोटक बाहर से मंगवाया गया था। पुलिस ने बताया कि यह घटना बेहद गंभीर है और इसमें किसी की जान भी जा सकती थी।
0 क्या कहता है कानून?
भारतीय दंड संहिता की धारा 124 ए के तहत ज्वलनशील पदार्थ का उपयोग कर किसी को नुकसान पहुंचाना गंभीर अपराध है। इसके तहत दोषियों को 10 साल तक की सजा हो सकती है। हालांकि, इस मामले में दोषी किशोर हैं, इसलिए उन पर जेजे एक्ट लागू होगा। बाल न्यायालय में मामला पेश करने के बाद ही आगे की कार्रवाई की जाएगी।