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छत्तीसगढ़ बिलासपुर

परिवार की मर्जी के बिना शादी अक्सर असफल होती है, लव मैरिज से बचे- डॉ. किरणमयी नायक

बिलासपुर । राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष डॉ. किरणमयी नायक, सदस्य अर्चना उपाध्याय एवं डॉ. अनिता रावटे ने प्रार्थना सभा कक्ष जल संसाधन परिसर बिलासपुर में महिल उत्पीड़न से संबंधित प्रस्तुत प्रकरणों पर जनसुनवाई की।  छत्तीसगढ़ महिला आयोग की अध्यक्ष डॉ. किरणमयी नायक की अध्यक्षता में 174वीं जनसुनवाई हुई। जनसुनवाई में कुल 35 प्रकरण रखे गए। एक आवेदिका ने बताया कि पांच माह पूर्व आपसी सुलह हो गया। प्रकरण में कोई कार्यवाही नहीं चाहती। अतः प्रकरण नस्तीबद्ध किया गया। एक अन्य आवेदिका द्वारा बताया  गया कि बिलासपुर परिवार न्यायालय में भरण पोषण का मामला लंबित है। न्यायालय में प्रकरण लंबित होने के कारण प्रकरण नस्तीबद्ध किया जाता है। आवेदिका ने बताया कि अनावेदिका उसकी बहू है। जो साथ रहने पर उन्हें बहुत परेशान कर रही थी। अब अनावेदिका आवेेदिका से अलग रहती है। उसने न्यायालय में आवदिका के बेटे के विरूद्ध मामला प्रस्तुत किया है। चूंकि अनावेेदिका  अब आवेदिका को परेशान नहीं करेगी, इसलिए प्रकरण नस्तीबद्ध किया जाता है। एक अन्य प्रकरण में आवेदिका की मृत्यु होने के कारण उनके पुत्र उपस्थित एसपी का प्रतिवेदन प्राप्त हुआ है। अनावेदक के विरूद्ध धारा 420 के तहत केस दर्ज किया जा चुका है। इसकी पुष्टि होती है। अतः प्रकरण नस्तीबद्ध किया जाता है। आवेदिका अनुपस्थित अनावेदक आवेदिका का पुत्र है। उसके ़द्वारा सीजेएम बिलासपुर के अदालत में दस्तावेजों की कॉपी प्रस्तुत किया है। अनावेदक का कथन है कि अनावेदक के सगे बड़े भाई के  साथ उनकी मां रहती है और भाईयां के बीच न्यायालय में मामला लंबित होने के कारण बचने के लिए मां की आड़ में झूठी शिकायत दर्ज की गई है। अनावेदक द्वारा प्रस्तुत दस्तावेजांे से पुष्टि होती है। प्रकरण न्यायालय  में विचाराधीन है। अतः प्रकरण  नस्तीबद्ध किया जाता है। अनावेदक ने शिकायत किया कि परिवर की सहमति से सामाजिक रीति से उनका विवाह सफल है। लव मैरिज मंे न लव बचा न मैरिज। आवेदिका लगातार 3 बार अनुपस्थित है। अनावेदक ने बताया कि उसने आवेदिका से लव मैरिज किया था। उसे छोड़कर आवेदिका अब तक चौथी शादी कर चुकी है। इन दोनों पक्षों के बीच न्यायालय में मामला चल रहा था। जो खरिज हो चुका है। अतः प्रकरण नस्तीबद्ध किया जाता है।

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