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छत्तीसगढ़

दबंगों ने घेर दिया सड़क, घरों में कैद हुआ परिवार, कहा- टांग अड़ाने वाले का अंजाम बुरा होगा

सीतापुर। विगत तीन पीढ़ी पुरानी सड़क को दबंगों ने घेर दिया। आवागमन की सुविधा के लिए शासकीय भूमि पर सड़क बनाई गई थी। रास्ता बंद होने के बाद दर्जनों परिवारों का घर से निकलना मुश्किल हो गया। दबंगों के आतंक एवं सड़क की घेराबंदी के कारण लोग घरों में कैद होकर रह गए है। पीड़ित परिवार की सूचना के बाद मौके पर पहुंची पुलिस की भी दबंगों के सामने एक न चली। पुलिस की समझाइश के बाद भी दबंगों ने सड़क से घेराबंदी नही हटाई, जिसे देख पीड़ित पक्ष खुद को काफी डरा हुआ एवं असुरक्षित महसूस कर रहा है।

मामला ग्राम पंचायत शिवनाथपुर के लकड़ापारा का है। यहां पूर्व कांग्रेसी विधायक स्व सुखदेव राम के परिवार समेत दर्जनों परिवार सैकड़ों वर्षों से निवासरत है। जिनके आने जाने हेतु यहां शासकीय भूमि पर कच्ची सड़क का निर्माण कराया गया था। जिसे अब निजी भूमि बता गांव के दबंग कुंभकरण, महेंद्र आ रामसाय, मधु, चंद्रिका आ बलराम एवं प्रेमचंद आ ठिभु सभी जाति उरांव ने कब्जा कर लिया। कब्जे के बाद घेराबंदी करते हुए दबंगों ने सड़क की जुताई कर आवागमन पूरी तरह बाधित कर दिया। लोगों ने जब इसका विरोध किया तो दबंग मरने मारने पर उतारू हो गए। उन्होंने विरोध करने वाले लोगों को धमकाते हुए कहा कि उनके काम मे टांग अड़ाने वाले का अंजाम बुरा होगा।
सड़क पर दबंगो द्वारा की गई घेराबंदी का खामियाजा स्कूली बच्चों को भी भुगतना पड़ रहा है। सड़क के अभाव में बच्चों का स्कूल जाना बंद हो गया है। जिससे उनकी पढ़ाई प्रभावित होने लगी है, वही सड़क के अभाव में लोगो के दो पहिया चार पहिया वाहन घर की चारदीवारी में कैद होकर रह गए है।

सड़क के अभाव में घरों में कैद लोगों ने घेराबंदी हटाने की मांग की। जिसे दरकिनार करते हुए दबंगो ने सड़क से घेराबंदी हटाने से साफ मना कर दिया। दबंगो के इस दहशतगर्दी से गांव की शांति व्यवस्था भंग होने लगी है। जिससे कभी भी गांव में अप्रिय स्थिति निर्मित हो सकती है। इस संबंध में पीड़ित पक्ष ने सड़क की घेराबंदी करने वालो के विरुद्ध थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई थी।
पीड़ित पक्ष की रिपोर्ट के बाद गांव पहुंची पुलिस की दबंगों के सामने एक न चली। पुलिस ने दबंगों को समझाइश देते हुए कब्जा हटाने के निर्देश दिए थे। जिसे मानने से इंकार करते हुए दबंगो ने सड़क से घेराबंदी हटाने से मना कर दिया। पुलिस की समझाइश के बाद भी दबंगों का यह दुस्साहस देख डरा सहमा हुआ पीड़ित पक्ष खुद को काफी असुरक्षित महसूस कर रहा है। पीड़ित पक्ष ने पुलिस से एक बार फिर गुहार लगाते हुए उचित कार्रवाई की मांग की है, ताकि गांव में भाईचारा के साथ शांति व्यवस्था कायम रहा सके।